वरिष्ठ चिकित्सक डा अजय आर्या चिकित्सा शिक्षा निदेशक बने

डा भैसोडा़ अल्मोड़ा मेडिकल कालेज के स्थायी प्राचार्य बने
अल्मोड़ा। डा अजय आर्या प्रदेश के नए चिकित्सा शिक्षा निदेशक होंगे। जाने माने बाल रोग विशेषज्ञ डा आर्या विभाग में वरिष्ठतम प्रोफेसर हैं। ह्ल्द्वानी मेडिकल कालेज के बाद डा आर्या लंबे समय तक अल्मोड़ा मेडिकल कालेज में कार्यरत रहे। उनके पास वर्तमान में राजकीय मेडिकल कालेज पिथौरागढ़ का प्राचार्य का जिम्मा था। वहीं डा चंद्र प्रकाश भैसोड़ा को राजकीय मेडिकल कालेज अल्मोड़ा का स्थायी प्राचार्य नियुक्त किए गए हैं। चिकित्सा स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा अनुभाग की उप सचिव जसविंदर कौर की ओर से शुक्रवार को इस आशय का कार्यालय ज्ञाप जारी हुआ है। इसमेें डा आर्या सहित 7 स्थायी प्राचार्यों की घोषणा व तैनाती की गई है। इस के तहत डा अरुण जोशी हल्द्वानी मेडिकल कालेज डा गीता जैन दून मेडिकल कालेज डा चंद्र मोहन सिंह रावत हरिद्वार मेडिकल कालेज डा गोविंद सिंह तितियाल रुद्रपुर मेडिकल कालेज तथा डा अरविंद कुमार सिंह को पिथौरागढ़ मेडिकल कालेज का प्राचार्य बनाया गयाहै। इधर जानकारी के अनुसार वर्तमान के निदेशक डा आशुतोष सयाना के पास श्रीनगर मेडिकल कालेज के प्राचार्य दायित्व यथावत रहेगा। यहां उल्लेखनीय है कि चिकित्सा शिक्षा विभाग में लंबे समय से उच्च पदों पर कार्यवाहक व्यवस्था चल रही थी। इस बीच सात वरिष्ठ प्रोफेसरों को प्राचार्य पद पर स्थायी नियुक्ति के लिए चुना गया है। इनमें से डा आर्या को निदेशक की जिम्मेदारी दी गई है।
नए निदेशक डा आर्या की प्राथमिकाएं- नव नियुक्त निदेशक डा अजय आर्या का कहना है कि प्रदेश में नए मेडिकल कालेजों का संचालन शुरू करने के लिए ठोस कदम उठाए जाएंगे वहीं पहले से चल रहे कालेजों की एकेडमिक व्यवस्था को पटरी में लाने के प्रयास किए जाएंगे। मेडिकल कालेजों मेें आने वाले मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराना भी उनकी प्राथमिकताओं में शामिल रहेगा। यह कोशिश की जाएगी की मेडिकल कालेज के अस्पतालों में आने वाले मरीजों को बेहतर इाज मिले और रेफर करने की जरूरत न्यूनतम रहे। उनका मानना है कि विभाग में सबको साथ लेकर काम किया जाएगा। मूल रूप से नैनीताल से ताल्लुक रखने वाले डा आर्या को यह दायित्व मिलने पर चिकित्सा शिक्षा विभाग के साथियों के साथ ही उनके शुभचिंतकों ने बधाई व शुभकमानांए दी हैं।डा भैसोडा़ अल्मोड़ा मेडिकल कालेज के स्थायी प्राचार्य बने